लोग तो कुछ भी कह देंगे यहाँ लोगों का क्या
किसी के कह देने भर से ही क्या फर्क पड़ता है
किसी और को बतलाने की ज़रूरत ही है क्या
अपना ज़मीर तो अपनी कहानी ख़ुद कहता है
People can utter anything why to bother
No difference it should make to youself
What is the need of narrating to others
Your conscience sure speaks for itself
तुमने उस रोज़ जो वो सब कहा
अब कहते हो कि वो सब झूठ था
पर हमने तो ये अब भी नहीं कहा
कि जो जो हमने कहा वो झूठ था
What all you had uttered that day
Now you say wasn't the true feeling
But I haven't yet even mentioned
That all I said wasn't my feeling!
तनहाइयों में जब कभी भी मैं घिर जाता हूँ
खुद को अपने आप के बड़ा करीब पाता हूँ
भुला न सका जिनको जो भुला चले हमको
उनकी यादों से मन को बहला लिया करता हूँ
Whenever I got surrounded by my lonely moments
I always discoverd myself very close to my stories
Couldn't forget those who have now forgotten me
I console my sentiments through their memories
दोस्त और पुराने किरदार आस पास नदारद से पाते हैं
शायद मंज़र बदल गया है कहीं और किरदार निभाते हैं
Friends and old characters around me disappeared somewhere
Perhaps the scenario has changed and they now act elsewhere
बड़ा ऐतबार था मुझे तेरे वादे पर अब तक
अब रहा न ऐतबार तो चाहे जितने कर वादे
I have had great belief thus far in all your promises
Now the belief is gone you can make as many promises
जियारत के नाम पर तुम किसका इम्तहान लेना चाहते थे
ख़ुदा के नाम पर तुम खुदाई को ही क्यों आज़माना चाहते थे
In the name of pilgrimage who did you want to be tested
In God's name why did you want Godness itself be tested!
बदलते रंग में ज़माने की ये कैसी हवा है चली
किसको क्या कहें जब वफ़ा ही बेवफ़ा हो चली
In the changing colors of time ways of people are weird
Whom shall we say a word when trust itself is distrusted
मुझे रब ने कहा हर बात पर मेरा नाम क्यों लेता है
क्यों अपनी कमजोरियां बस यूँ ही खुद से छुपा लेता है
I was asked by God why you always take shelter in my name
Why don't you accept your weakness and follies in thy name!
कोई दुश्वारी का नहीं हमें डर है तो बेक़रारी का
होता नहीं इलाज़ नाक़ाम इश्क की बीमारी का
Not hardships but I'm afraid of restlessness
There is no treatment for failed amativeness!
इतनी ख़ता की हमने कि बस दो चार लफ़्ज़ कह दिए
मालूम न था थोड़े से अलफ़ाज़ कुछ ज्यादा कह गए
It was my only fault to utter just a few words
Didn't know so few words will speak so much!
सच है मेरी बस्ती में यहाँ बड़े दिल वाले बसते हैं
फिर भी मुझे बड़े दिल वालों की कमी खलती है
True, there are many people with hearts in my habitat
Yet I always missed the people around with large heart
सारी गर्मी सोचा था धुल जाएगी
जब बरसेगा ख़ूब जम के पानी
पानी पानी हो गए अरमान सारे
बरसात में भी नहीं बरसा पानी
The heat of summer would go
With the heavy rains I thought
With little rains in rainy season
All ambitions facing a drought
सोचा था समझोगे जब फ़र्क कभी
फ़ख्र होगा तुम्हें तब हम पर ज़रूर
जब भी आने लगता है समझ तुमको
न जाने क्यों आगे आ जाता है गुरुर
I though one day you would understand me
It will be day for you to be proud of myself
Somehow whenever you start understanding
You bring about that very arrogance of yourself
ज़िन्दगी के सब हसीन लम्हे एक एक कर सिमटते रह गए
कभी मोहब्बत के नाम पर कभी मोहब्बत के इम्तहान पर
All those precious moments of life kept shrinking
Either in the name of love or being tested for love
हमारी मंशा को समझ नहीं पाए हो तुम अब भी
सिर्फ़ गिरफ़्त में नहीं आगोश में लेना चाहते थे हम
You still haven't understood my true intentions
Not the grip but I wanted to hold you in my arms
सिर्फ़ इतना है मुझे ख़ुद पर गुरुर
कि और कोई नहीं है मुझमें गुरुर
Only this much is my arrogance on self
That no other arrogance exists in myself!
न मालूम हम किस तरह पहचानें उनको
देखा नहीं पहले कोई भी यहाँ उनकी तरह
उनका अन्दाज़ भी अलग उन्हीं की तरह
उनके ज़ज्बात भी ज़ुदा हैं उन्हीं की तरह
I don't know how try understand her
Never before I saw anyone like her
Her ways too are different like her
Emotions too are different like her
वही तमन्ना वही सोच और ज़ज्बा भी वही
फिर भी तौर तरीके कोई भी तो एक से नहीं
गुज़ारिश भी उभयपक्ष की रहेगी इसीलिए
सब एक होते भी यही सच है हम एक नहीं
Same aspirations, thinking; and enthusiasm
Yet all our ways are always so different
Expectations would to be mutual, therefore
Everything similar yet ought to be different
जिनकी उल्फ़त में भी कभी नफ़रत आती थी नज़र मुझको
अब उन्हीं की नफ़रत में भी बस उल्फ़त नज़र आती मुझको
मुझे नहीं मालूम ये कि कहाँ से चलकर कहाँ आ पहुँचा हूँ मैं
बस नज़र नज़र का फेर है इतना तो ज़रूर मालूम है मुझको
ज़िन्दगी ज़िन्दगी के ही कुछ इस तरह पास आने लगी
कि खुदबखुद अपने आप से कुछ गुफ़्तगू वो करने लगी
हरपल इधर वो कुछ अटपटा सा गीत गुनगुनाने लगी राज
दिल के खुद से छुपाकर अपने आप शरमाने लगी
Life around started coming closer to life itself
It was indulging in her conversation with itself
Always was humming few weird tunes by itself
Was blushing hiding secrets of heart from itself
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